View Hymn (Bhajan)
Hymn No. 1857 | Date: 03-Nov-19961996-11-031996-11-03नही बोलता तब तक तू कुछ भी नही बोलताSant Sri Apla Mahttps://www.mydivinelove.org/bhajan/default.aspx?title=nahi-bolata-taba-taka-tu-kuchha-bhi-nahi-bolataनही बोलता तब तक तू कुछ भी नही बोलता,
पर प्रभु जब तू कहने बैठता है, तब बहुत कुछ कह जाता है|
पर तू कब बोलेगा और कब नही, ये राज़ नही खोलना है|
करवाता है कभी बहुत इंतज़ार और कभी बिना इंतज़ार ही तू कुछ कह देता है|
कभी खामोश रहकर भी तू बहुत कुछ कहता रहता है|
आ जाए कोई तंग तेरी चुप्पी से, फिर भी कभी तू कुछ नही बोलता है|
है यही बात कि प्रभु तू जो करता है वह कभी कहकर नही कुछ करता है|
किसी के होठों पर मुस्कान, तो किसी के आँखों में आसूँ तू दे देता है|
जो माँगे तेरे पास उसे कभी भी तू निरास नही करता है|
बहुत कुछ बोलकर भी लगे कि तू बोलता कम है और चुप ज्यादा रहता है|
नही बोलता तब तक तू कुछ भी नही बोलता