Share इबादते इश्क चाहत है दिल की, तेरे दर पर आये हैं । इनायतों से भरी है झोली मेरी तूने, रूह सुकून पाया है ।- संत श्री अल्पा माँ इबादते इश्क चाहत है दिल की, तेरे दर पर आये हैं । इनायतों से भरी है झोली मेरी तूने, रूह सुकून पाया है । - संत श्री अल्पा माँ Previous तेरी मुहब्बत ही मेरी इबादत है। Next मोह के वश भया मन बावरा, मोह के वश भया मन बावरा