नजर के झरोखों से,
आपको दिल के महल में बिठाया था ।
प्यार ही प्यार मांगा था,
ना हमारे महल का कोई किराया था ।
Through the windows of my eyes,
I had placed you in the palace of my heart.
Love was asking for love,
There was no rent for that palace.
- संत श्री अल्पा माँ